सनराइज़र्स हैदराबाद और गुजरात टाइटंस का मुक़ाबला बारिश में धुल गया.
इससे मिले एक अंक से सनराइज़र्स प्लेऑफ़ में स्थान बनाने वाली तीसरी टीम बन गई है. गुजरात टाइटंस इस मैच से पहले ही प्लेऑफ़ की दौड़ से बाहर हो चुकी थी.
इस मैच के बारिश में धुलने का सीधा असर दिल्ली कैपिटल्स और लखनऊ सुपरजायंट्स पर पड़ा है. दिल्ली कैपिटल्स तो बाहर हो गई और लखनऊ के सामने बहुत ही मुश्किल समीकरण है. वह सिर्फ तकनीकी तौर पर ही दौड़ में है अन्यथा उसका बाहर होना तय-सा है.
क़रीब 7.30 बजे के क़रीब एक बार लगा कि मैच शुरू होने वाला है. बारिश थमने पर 8 बजे टॉस होना तय हुआ और 8.15 बजे खेल शुरू किया जाना तय हुआ, पर टॉस होने से पहले ही बारिश फिर आने से मैच रद्द कर दिया गया.
सनराइज़र्स का टॉप दो में पहुंचना हुआ मुश्किल
सनराइज़र्स हैदराबाद मैच रद्द होने से मिला एक अंक पाकर प्लेऑफ़ में तो पहुंच गई है, पर उसका टॉप दो टीमों में आना मुश्किल हो गया है.
वह अब अपना आख़िरी मैच पंजाब किंग्स से जीत भी जाती है तो भी 17 अंकों तक ही पहुंच सकेगी.
सनराइज़र्स अब उसी सूरत में टॉप दो में स्थान बना सकती है, जब वह अपना आख़िरी मैच जीते और राजस्थान रॉयल्स अपना आख़िरी मैच कोलकाता नाइटराइडर्स के ख़िलाफ़ हारे.
यह सही है कि राजस्थान रॉयल्स अपने अंतिम चार मैच हार गई है और केकेआर इस समय सबसे मज़बूत प्रदर्शन कर रही है, इसलिए उनका कोलकाता पर जीत पाना थोड़ा मुश्किल दिखता है.
पर राजस्थान की टीम अपनी पूरी क्षमता से खेलती है, तो वो परिणाम अपने पक्ष में कर सकती है.
सनराइज़र्स 2020 के बाद पहली बार प्लेऑफ़ में पहुंची है. वह 2021 और 2023 में आख़िरी स्थान पर रही और 2022 में आठवें स्थान पर रही थी.
सनराइज़र्स में है ख़िताब जीतने का माद्दा
इरफ़ान पठान ने कहा कि सनराइज़र्स भले ही मैच बारिश में धुलने की वजह से टॉप दो टीमों में स्थान नहीं बना सके पर वह ऐसी टीम है, जो इस बार ख़िताब जीत सकती है.
उनके हिसाब से डेनियल विटोरी और पैट कमिंस की कोच और कप्तान की जोड़ी ने टीम को इस स्थिति में पहुंचाया है.
वह कहते हैं कि डेनियल विटोरी ऑस्ट्रेलिया टीम के साथ काम कर चुके हैं इसलिए वह कमिंस को पहले से जानते हैं. सही मायनों में ये इन दोनों की पहले से बनी आपसी समझ की वजह से ही है कि सनराइज़र्स हैदराबाद का यह रूप देखने को मिल रहा है.
इरफ़ान पठान के हिसाब से अब ट्रेन के सारे डिब्बे लाइन में आ गए हैं और ट्रेन ट्रेक पर सही दौड़ने लगी है.
दिल्ली और लखनऊ कैसे हुई हैं बाहर?
दिल्ली कैपिटल्स अपना कार्यक्रम पहले ही पूरा कर चुकी थी और उसने 14 मैचों में 14 अंक बनाए थे.
उसका नेट रन रेट माइनस 0.377 है. यह रन रेट आरसीबी के रन रेट प्लस 0.387 और सीएसके प्लस 0.588 के मुक़ाबले काफी कमज़ोर है.
इसलिए वह इन दोनों टीमों से आगे नहीं जा सकती थी, इसलिए प्लेऑफ़ की दौड़ से बाहर हो गई.
लखनऊ सुपरजायंट्स ने अब तक 13 मैचों में 12 अंक बनाए हैं. उसका नेट रन रेट माइनस 0.787 है.
उन्हें आरसीबी से ऊपर जाने के लिए अपने आख़िरी मैच को कम से कम 400 रनों से जीतना होगा. यह संभव नहीं है, इसलिए वह भी एक तरह से बाहर हो गई है.
गुजरात के ख़राब प्रदर्शन की वजह
गुजरात टाइटंस के ख़राब प्रदर्शन की एक वजह तो कप्तान हार्दिक पांड्या का अंतिम समय में मुंबई इंडियंस जाना रहा.
इसके अलावा मोहम्मद शमी की अनुपस्थिति और कप्तानी के दवाब में शुभमन गिल का एक सा प्रदर्शन नहीं कर पाना भी एक कारण रहा.
शुभमन ने पिछले सत्र में तीन शतकों के साथ 890 रन बनाए थे. लेकिन इस बार उन्होंने पहले छह मैचों में 151 से ज़्यादा की स्ट्राइक रेट से 255 रन बनाए तो लगा कि वह पिछले सीज़न की तरह ही रंग में हैं.
लेकिन अगले पांच मैचों में वह इस तरह का प्रदर्शन नहीं कर सके. वह इस दौरान लगाए शतक को निकाल दें तो बाकी मैचों में सिर्फ 67 रन ही जोड़ सके.
मोहम्मद कैफ कहते हैं कि टीम हार्दिक पांड्या के हिसाब से तैयार की गई थी और इसके बनाने में शुभमन गिल का कोई योगदान नहीं था. पर इस साल के अनुभव से शुभमन गिल को बहुत कुछ सीखने को मिलेगा और वह अगले साल बेहतर कप्तान के तौर पर नज़र आ सकते हैं.
शुभमन गिल और सुदर्शन ने जब एक मैच में शतक लगाया था उसके बाद लगा था कि गुजरात अपने रंग में वापस आ गई है.
लेकिन गुजरात के अकेले दो मैच बारिश में धुल गए और प्लेऑफ़ में स्थान बनाने की संभावनाओं को झटका लगा.
अब सारा फोकस आरसीबी और सीएसके मैच पर
आरसीबी और सीएसके के बीच 18 मई को खेले जाने वाला मैच से प्लेऑफ़ में पहुंचने वाली चौथी टीम का फै़सला होना है.
चेन्नई को प्लेऑफ़ में स्थान बनाने के लिए सिर्फ मैच जीतना है. वहीं आरसीबी के लिए पहले बल्लेबाज़ी करने पर 18 या इससे ज़्यादा रनों से जीत पाना ज़रूरी होगा. और अगर वह लक्ष्य का पीछा करती है तो उसे 18.1 ओवरों में अपने लक्ष्य तक पहुंचना होगा.
इस बार आरसीबी की ख़ास बात यह है कि उन्होंने शुरुआत बहुत ही ख़राब की और पहले आठ मैचों में से सिर्फ एक ही मैच जीत सकी. लेकिन उन्होंने आख़िरी पांच मैच जीतकर खेल में ज़ोरदार वापसी की है. इस वापसी में विराट कोहली की बल्लेबाज़ी ने अहम भूमिका निभाई है. वह 661 रन बनाकर ऑरेंज कैप पर कब्ज़ा जमाए हुए हैं.
यह सही है सीएसके का अपने गृह मैदान पर रिकॉर्ड शानदार है पर आरसीबी पिछले कुछ मैचों में जिस तरह से खेली है, उससे उसकी चुनौती को भी कम करके नहीं आंका जा सकता.